ज्योतिष

Aaj ka Panchang आज का पंचांग सोमवार, 22 मई 2023

आचार्य श्री गोपी राम (ज्योतिषाचार्य) जिला हिसार हरियाणा मो. 9812224501
✦••• जय श्री हरि •••✦
🧾 आज का पंचाग 🧾
सोमवार 22 मई 2023

महा मृत्युंजय मंत्र – ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम्‌। उर्वारुकमिव बन्धनान्मृत्योर्मुक्षीय माऽमृतात्।।
☄️ दिन (वार) – सोमवार के दिन क्षौरकर्म अर्थात बाल, दाढ़ी काटने या कटाने से पुत्र का अनिष्ट होता है शिवभक्ति को भी हानि पहुँचती है अत: सोमवार को ना तो बाल और ना ही दाढ़ी कटवाएं ।
सोमवार के दिन भगवान शंकर की आराधना, अभिषेक करने से चन्द्रमा मजबूत होता है, काल सर्प दोष दूर होता है।
सोमवार का व्रत रखने से मनचाहा जीवन साथी मिलता है, वैवाहिक जीवन में लम्बा और सुखमय होता है।
जीवन में शुभ फलो की प्राप्ति के लिए हर सोमवार को शिवलिंग पर पंचामृत या मीठा कच्चा दूध एवं काले तिल चढ़ाएं, इससे भगवान महादेव की कृपा बनी रहती है परिवार से रोग दूर रहते है।
सोमवार के दिन शिव पुराण के अचूक मन्त्र “श्री शिवाये नमस्तुभ्यम’ का अधिक से अधिक जाप करने से समस्त कष्ट दूर होते है. निश्चित ही मनवाँछित लाभ मिलता है।
🔮 शुभ हिन्दू नववर्ष 2023 विक्रम संवत : 2080 नल, शक संवत : 1945 शोभन
🌐 संवत्सर नाम अनला
🔯 शक सम्वत : 1945 (शोभकृत् संवत्सर)
☸️ काली सम्वत् 5124
🕉️ संवत्सर (उत्तर) पिंगल
☣️ आयन – उत्तरायण
☀️ ऋतु – सौर ग्रीष्म ऋतु
🌤️ मास – ज्येष्ठ मास
🌘 पक्ष – शुक्ल पक्ष
📆 तिथि – ज्येष्ठ मास शुक्ल पक्ष तृतीया तिथि 11:19 PM तक उपरांत चतुर्थी
🖍️ तिथि के स्वामी :- तृतीया तिथि की स्वामी माँ गौरी और कुबेर देव जी और चतुर्थी तिथि के स्वामी भगवान गणेश जी है।
💫 नक्षत्र – म्रृगशीर्षा नक्षत्र 10:37 AM तक उपरांत आद्रा
🪐 नक्षत्र स्वामी – मृगशिरा नक्षत्र का स्वामी मंगल होता है। तथा नक्षत्र के देवता – चंद्रमा है।
📣 योग – धृति योग 04:33 PM तक, उसके बाद शूल योग
प्रथम करण : तैतिल – 10:40 ए एम तक
द्वितीय करण – गर 11:19 PM तक, बाद वणिज
🔥 गुलिक काल : – सोमवार का शुभ (गुलिक काल) दोपहर 1:30 से 3 बजे तक ।
⚜️ दिशाशूल – सोमवार को पूर्व दिशा का दिकशूल होता है । यात्रा, कार्यों में सफलता के लिए घर से दर्पण देखकर, दूध पीकर जाएँ ।
🤖 राहुकाल -सुबह -7:30 से 9:00 तक राहु काल में कोई भी शुभ कार्य नहीं करना चाहिए |
🌞 सूर्योदयः- प्रातः 05:20:00 AM
🌅 सूर्यास्तः- सायं 06:40:00 PM
👸🏻 ब्रह्म मुहूर्त : 04:05 ए एम से 04:46 ए एम
🌆 प्रातः सन्ध्या : 04:25 ए एम से 05:27 ए एम
🌟 अभिजित मुहूर्त : 11:51 ए एम से 12:45 पी एम
🔯 विजय मुहूर्त : 02:35 पी एम से 03:30 पी एम
🐃 गोधूलि मुहूर्त : 07:07 पी एम से 07:28 पी एम
🏙️ सायाह्न सन्ध्या : 07:09 पी एम से 08:11 पी एम
💧 अमृत काल : 01:48 ए एम, मई 23 से 03:32 ए एम, मई 23
🗣️ निशिता मुहूर्त : 11:57 पी एम से 12:38 ए एम, मई 23
सर्वार्थ सिद्धि योग : 05:27 ए एम से 10:37 ए एम
💦 अमृत सिद्धि योग : 05:27 ए एम से 10:37 ए एम
❄️ रवि योग : 10:37 ए एम से 05:27 ए एम, मई 23
🚓 यात्रा शकुन- मीठा दूध पीकर यात्रा करें।
👉🏽 आज का मंत्र-ॐ सौं सोमाय नम:।
🤷🏻‍♀️ आज का उपाय-गणेश मंदिर में मोदक चढ़ाएं।
🪵 वनस्पति तंत्र उपाय- पलाश के वृक्ष में जल चढ़ाएं।
⚛️ पर्व एवं त्यौहार – रंभाव्रत/ महाराणा प्रताप जयंती (तिथि अनुसार), राजा राममोहन राय जन्मोत्सव, सूर साम्राज्य’ का संस्थापक शेरशाह सूरी पुण्यतिथि, गोविन्द चन्द्र पाण्डे स्मृति दिवस, गामा पहलवान जयन्ती, विश्व व्यापार दिवस, जैव विविधता के लिए अंतर्राष्ट्रीय दिवस
✍🏼 विशेष – द्वितीया तिथि को कटेरी फल का तथा तृतीया तिथि को नमक का दान और भक्षण दोनों त्याज्य बताया गया है। द्वितीया तिथि सुमंगला और कार्य सिद्धिकारी तिथि मानी जाती है। इस द्वितीया तिथि के स्वामी भगवान ब्रह्माजी हैं। यह द्वितीया तिथि भद्रा नाम से विख्यात मानी जाती है। यह द्वितीया तिथि शुक्ल पक्ष में अशुभ तथा कृष्ण पक्ष में शुभ फलदायिनी होती है।
🗺️ Vastu tips 🗽
हर किसी के घर में कोई न कोई तस्वीर जरूर लगी होती हैं। आपके घर में भी लगी होगी। कुछ लोगों को नेचर की या आर्ट वर्क से जुड़ी तस्वीर लगाना पसंद होता है। आप इनमें से किसी भी तरह की तस्वीर लगा सकते हैं, लेकिन घर में परिवार के सदस्यों की भी एक तस्वीर जरूर लगानी चाहिए। वास्तु शास्त्र में आज हम बात करेंगे घर के सदस्यों की तस्वीर लगाने के बारे में। आचार्य इंदु प्रकाश से जानेंगे कि घर में कैसी तस्वीर लगाना शुभ और फलदायी होता है।
वास्तु शास्त्र के मुताबिक, घर में प्रसन्नचित मुद्रा में एक साथ खींची हुई परिवार के सब सदस्यों की तस्वीर लगाने से सबके अंदर पॉजिटिविटी आती है। जब भी घर का कोई सदस्य उस तस्वीर को देखता है, तो उसके अन्दर घर के बाकी सदस्यों के प्रति प्यार की भावना आती है और एक अलग सी खुशी महसूस होती है।
वास्तु के अनुसार, परिवार के सब सदस्यों की एक साथ फोटो लगाने से सबके बीच सामंजस्य बना रहता है। वहीं अगर तस्वीर की दिशा की बात करें तो इसके लिये दक्षिण-पश्चिम दिशा का कोना सबसे अच्छा होता है। इससे उस तस्वीर की पॉजिटिविटी और भी अधिक बढ़ जाती है। वास्तु शास्त्र में ये थी चर्चा घर के सदस्यों की तस्वीर लगाने के बारे में। उम्मीद है आप इस वास्तु टिप्स को अपनाकर जरूर लाभ उठाएंगे।
➡️ जीवनोपयोगी कुंजियां ⚜️
रातरानी का फूल, सूरज ढलने के बाद महकना शुरू कर देता है। ऐसे में जब आप इसके पास से गुजरते हैं तो इसकी खुशबू आपको खुश कर सकती है। ये मूड बूस्टर की तरह काम करती है और आपने मन को शांत कर दे सकता है।
रजनी गंधा- रजनी गंधा का फूल आपकी सेहत के लिहाज से कई प्रकार से फायदेमंद है। इस फूल की खुशबू, आपके दिमाग और ब्रेन सेल्स को शांत करती है। साथ ही इसका आपके आस-पास होना तनाव भी कम करता है। इस प्रकार से ये एंग्जायटी कम करने में मदद कर सकता है।
चमेली-चमेली का पेड़ इस लिहाज से भी अपने घर के आस-पास लगाएं ताकि इसकी खुशबू आपके मन को शांत करने के साथ एंग्जायटी दूर करने में मदद करे। इसके अलावा ये आपकी नींद को भी बढ़ावा देने में मददगार है।
🍒 आरोग्य संजीवनी 🍑
पैरों में दर्द के कारण-मांसपेशियों में खिंचाव कभी-कभी एक्सरसाइज, दौड़ने, सीढियों पर चढने-उतरने की वजह से मांसपेशियों खिंचाव आ जाता है। साथ ही ज्यादा चलने और थकावट की वजह से भी ऐसा सा हो सकता है। ऐसे में मांसपेशियों में सूजन आने लगती है और आप पैरों में दर्द के शिकार हो सकते हैं।
गठिया पैर के दर्द का एक कारण गठिया है, जब हड्डियों में सूजन बढ़ती है तो अकड़न भी महसूस होती है। गठिया में जोड़ों में दर्द होता है और ये दर्द कई बार इतना गंभीर हो जाता है कि रह-रह कर परेशान करने लगता है।
यूरिक एसिड की समस्या जब शरीर में यूरिक एसिड की मात्रा बढ़ जाती है तो हम पैरों में दर्द महसूस करते हैं। दरअसल, होता यह है कि यूरिक एसिड का बढ़ जाना पैरों में ब्लड सेक्रुलेशन को प्रभावित करता है और पैरों में दर्द होता है। असल में ये पैरों में हो रही बेचैनी होती है जो हमें दर्द के रूप में महसूस होता है।
📗 गुरु भक्ति योग 🕯️
आचार्य श्री गोपी राम की कही हुई बात लोग आज भी अमल करते हैं।उनके उपदेश और नीतियां आज भी व्यक्ति को जीवन में सही राह दिखाती हैं। हमारे कहने के अनुसार, सुख और दुख जीवन में धूप और छांव की तरह होते हैं। ये समय के साथ आते-जाते रहते हैं। जीवन में सुख-दुख का आना जाना लगा रहता है, लेकिन कुछ दुख ऐसे होते हैं जो व्यक्ति को अंदर तक तोड़ कर रख देते हैं। कई बार इंसान के जीवन में ऐसी घटना घटती है जिसे वो ताउम्र भूल नहीं पाता। ये दुख व्यक्ति के जीवन में इतना गहरा प्रभाव डालते हैं कि लाख कोशिशों के बाद भी उन दुखों से बाहर निकलपाना आसान नहीं होता है। आइए जानते हैं कौन सी वो परिस्थितियां हैं जो मनुष्य को अंदर से बेदम कर के रख देती हैं।
पुत्री को विधवा देखना बेटी के लिए वर की तलाश कर उसका विवाह करना पिता का सबसे खूबसूरत ख्वाब होता है। बेटी का विवाह करके पिता अत्यंत सुख का अनुभव करता है। लेकिन यदि बेटी विधवा हो जाए तो माता-पिता के लिए ये जीवन का सबसे बड़ा दुख होता है। आचार्य श्री गोपी राम के अनुसार, ये दुख माता-पिता को तोड़कर रख देता है और वे जीवनभर इस दुख से निकल नहीं पाते।
शक्की और झगड़ालू जीवनसाथी कहा जाता है कि जब दो लोगों की शादी होती है तो वो अपनी सुन्दर दुनिया बसाते हैं। लेकिन अगर शादी में स्त्री हो या पुरुष किसी का स्वभाव अच्छा नहीं है। वो झगड़ालू प्रवृत्ति का है, तो उसके जीवनसाथी की ज़िंदगी नर्क के सामान बन जाती है। इस दुख से बाहर निकल पाना स्त्री या पुरुष दोनों के लिए मुश्किल होता है।
शराबी व्यक्ति किसी का सगा नहीं होता। ऐसा व्यक्ति ना ही अपने माँ बाप की सेवा करता है और न ही अपने परिवार का ध्यान रख पाता है।यदि कोई व्यक्ति शराबी है और काम धाम नहीं करता तो उसकी पत्नी और बच्चों का जीवन नर्क के समान हो जाता है। बाद में परिस्थितियां भले ही सही हो जाएं, लेकिन वो दुख व्यक्ति को जीवन भर सताता रहता है।
निकम्मा पुत्र, पिता की बुढ़ापे की लाठी होता है, लेकिन यदि पुत्र मूर्ख और निकम्मा हो तो वो जीवन भर माता-पिता पर बोझ के समान बन जाता है। ऐसे पुत्र जिनकी बुढ़ापे में भी माता पिता को चिंता करनी पड़े, उसका धरती पर होना अभिशाप की तरह है।
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⚜️ तृतीया तिथि केवल बुधवार की हो तो अशुभ मानी जाती है। अन्यथा इस तृतीया तिथि को सभी शुभ कार्यों में लिया जा सकता है। आज तृतीया तिथि को माता गौरी की पूजा करके व्यक्ति अपनी मनोवाँछित कामनाओं की पूर्ति कर सकता है। आज तृतीया तिथि में एक स्त्री माता गौरी की पूजा करके अचल सुहाग की कामना करे तो उसका पति सभी संकटों से मुक्त हो जाता है। आज तृतीया तिथि को भगवान कुबेर जी की विशिष्ट पूजा करनी चाहिये। देवताओं के कोषाध्यक्ष की पूजा आज तृतीया तिथि को करके मनुष्य अतुलनीय धन प्राप्त कर सकता है।
तृतीया तिथि में जन्म लेने वाला व्यक्ति मानसिक रूप से अस्थिर होता है अर्थात उनकी बुद्धि भ्रमित होती है। इस तिथि का जातक आलसी और मेहनत से जी चुराने वाला होता है। ये दूसरे व्यक्ति से जल्दी घुलते मिलते नहीं हैं बल्कि लोगों के प्रति इनके मन में द्वेष की भावना भी रहती है। इनके जीवन में धन की कमी रहती है, इन्हें धन कमाने के लिए काफी मेहनत और परिश्रम करना पड़ता है।

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