अंतिम संस्कार की चिता से उठाई लाश, और मुक्तिधाम में दफनाई, दूसरी रात को उखाड़कर फिर सुपुर्द ए खाक की

सिलवानी । अंतिम संस्कार की चिता से उठाई लाश, और मुक्तिधाम में दफनाई, दूसरी रात को उखाड़कर फिर सुपुर्द ए खाक की शीर्षक यह कोई फिल्म या धारावाहिक की स्क्रिप्ट नही है, अपितु एक वारदात की सच्चाई है।
इस वारदात का पूरा खुलासा पुलिस अधीक्षक विकास कुमार शाहबाल की उपस्थिति में किया जाएगा। युवक ने कर्ज से परेशान युवक ने अपनी पत्नी को परिवार के साथ मिलकर अपने को मृत घोषित करने के साजिश रची। और इस साजिश को घटना ने बदलने के लिए सावधान इंडिया, क्राईम पेट्रोल, सीआईडी जैसे क्राइम धारावाहिकों से सीख लेकर बड़े ही सुनियोजित तरीके से घटना को अंजाम दिया। कहते है ना चोर की दाढ़ी में तिनका भी आरोपी को जेल की सलाखो के पीछे पहुंचा देता है।
कब बनी योजना, कौन इस वारदात में शामिल है ?, कहा दिया घटना को अंजाम, दूसरे युवक को किस तरह अपने जाल में फंसाया और अपने साथ लेकर घटना स्थल ले गया ? लगातार पुलिस को चकमा देने के बाद भी थाना प्रभारी भरतसिंह की नजर और पुलिस अधीक्षक विकास कुमार शाहबाल, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अमृत मीना, एसडीओपी राजेश तिवारी के दिशा निर्देश और पुलिस की सूझबुझ से इस घटना को सुलझाने में बड़ी सफलता मिली है। इस का पूरा खुलासा कुछ ही समय मृगांचल एक्सप्रेस पर होगा।