जनसेवा ही सच्ची नारायण सेवा है, इससे बड़ा कोई धर्म नहीं- समाजसेवी मनोहर मेहरा
कड़कड़ाती ठंड में सालेगढ़ के जरूरतमंद, दलित, आदिवासियों को वितरित किए कंबल
रिपोर्टर : शिवलाल यादव
रायसेन । जिले के आदिवासी बहुल क्षेत्र सालेगढ़ के गरीब जरूरतमंद दलित आदिवासी महिला पुरुषों को लगभग डेढ़ सौ कंबल वितरित कर वास्तव में सच्ची मानव सेवा की मिसाल पेश की है। यह जनसेवा की बेमिशाल बानगी युवा समाजसेवी एवं मेहर, मेर समाज के प्रदेशाध्यक्ष मनोहर मेहरा धनोरा ने पेश की है।
मालूम हो कि एक समाचार पत्र समूह की तरफ से समाजसेवी मनोहर मेहर को मप्र के अशोकनगर और दिल्ली में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया, सांसद डॉ केपीएस यादव द्वारा प्राइड अवार्ड देकर दो मर्तबा सम्मानित भी किया जा चुका है।
समाजसेवा के क्षेत्र में इस पुनीत कार्यों को आगे बढ़ाते हुए युवा समाजसेवी व मेहर, मेहरा, मेर समाज के प्रदेशाध्यक्ष मनोहर मेहरा ने राष्ट्रपति पुरस्कार प्राप्त शिक्षक नीरज सक्सेना उनके मित्र जितेंद्र शर्मा के सहयोग से सालेगढ़ शासकीय प्राइमरी स्कूल परिसर में गरीब मजदूर खेतिहर तबके के दलित आदिवासी भील समुदाय के जरूरतमंद महिला पुरुषों को करीब 150 मखमल के कंबल बांटे।
इस मौके पर समाजसेवी मनोहर मेहरा ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि नर सेवा ही सच्ची नारायण सेवा है। इससे बड़ा दुनिया में कोई धर्म नहीं है।हमारे पूर्वजों से मिले शिक्षा संस्कार आदर्शों को आगे बढ़ाते हुए हम यह पुनीत कार्य कर रहे हैं और आगे भी करते रहेंगे। उन्होंने कहा कि सनातन हिन्दू धर्म से बड़ा संसार में कोई धर्म नहीं है। आप लोग धर्म परिवर्तन कभी नहीं करें।
शिक्षक नीरज सक्सेना, जितेंद्र शर्मा बोले कि समाजसेवी मनोहर मेहरा द्वारा गरीब दलित, आदिवासी ग्रामीणों को तेज सर्दी के मौसम में लगभग 150 कंबल बांटकर जनसेवा और सच्ची मानवता की मिसाल पेश की है।यह समाजसेवा का कार्य पिछले 8-10 सालों से निरन्तर कर रहे हैं।