Aaj ka Panchang आज का पंचांग सोमवार, 24 अप्रैल 2023
आचार्य श्री गोपी राम (ज्योतिषाचार्य) जिला हिसार हरियाणा मो. 9812224501
✦••• जय श्री हरि •••✦
🧾 आज का पंचाग 🧾
सोमवार 24 अप्रैल 2023
महा मृत्युंजय मंत्र – ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम्। उर्वारुकमिव बन्धनान्मृत्योर्मुक्षीय माऽमृतात्।।
☄️ दिन (वार) – सोमवार के दिन क्षौरकर्म अर्थात बाल, दाढ़ी काटने या कटाने से पुत्र का अनिष्ट होता है शिवभक्ति को भी हानि पहुँचती है अत: सोमवार को ना तो बाल और ना ही दाढ़ी कटवाएं ।
सोमवार के दिन भगवान शंकर की आराधना, अभिषेक करने से चन्द्रमा मजबूत होता है, काल सर्प दोष दूर होता है।
सोमवार का व्रत रखने से मनचाहा जीवन साथी मिलता है, वैवाहिक जीवन में लम्बा और सुखमय होता है।
जीवन में शुभ फलो की प्राप्ति के लिए हर सोमवार को शिवलिंग पर पंचामृत या मीठा कच्चा दूध एवं काले तिल चढ़ाएं, इससे भगवान महादेव की कृपा बनी रहती है परिवार से रोग दूर रहते है।
सोमवार के दिन शिव पुराण के अचूक मन्त्र “श्री शिवाये नमस्तुभ्यम’ का अधिक से अधिक जाप करने से समस्त कष्ट दूर होते है. निश्चित ही मनवाँछित लाभ मिलता है।
🔮 शुभ हिन्दू नववर्ष 2023 विक्रम संवत : 2080 नल, शक संवत : 1945 शोभन
🌐 संवत्सर नाम अनला
🔯 शक सम्वत : 1945 (शोभकृत् संवत्सर)
☸️ काली सम्वत् 5124
🕉️ संवत्सर (उत्तर) पिंगल
☣️ आयन – उत्तरायण
☀️ ऋतु – सौर ग्रीष्म ऋतु
🌤️ मास – वैशाख मास
🌖 पक्ष – शुक्ल पक्ष
📆 तिथि – शुक्ल पक्ष चतुर्थी 08:24 AM तक उसके बाद पञ्चमी।
✏️ तिथि का स्वामी – चतुर्थी तिथि के स्वामी भगवान गणपति जी और पंचमी तिथि के स्वामी नाग देवता जी है।
💫 नक्षत्र-मॄगशिरा 02:07 ए एम, अप्रैल 25 तक
🪐 नक्षत्र स्वामी – मृगशिरा नक्षत्र का स्वामी मंगल ग्रह है।जो व्यक्ति मृगशिरा नक्षत्र में जन्म लेते हैं उनपर मंगल का प्रभाव देखा जाता है।
🔔 योग-शोभन योग 07:48 AM तक, उसके बाद अतिगण्ड योग
⚡ प्रथम करण : विष्टि – 08:24 ए एम तक
✨ द्वितीय करण – बव – 08:57 पी एम तक
🔥 गुलिक काल : – सोमवार का शुभ (गुलिक काल) दोपहर 1:30 से 3 बजे तक ।
⚜️ दिशाशूल :- सोमवार को पूर्व दिशा का दिकशूल होता है ।यात्रा, कार्यों में सफलता के लिए घर से दर्पण देखकर, दूध पीकर जाएँ ।
🤖 राहुकाल :- सुबह -7:30 से 9:00 तक राहु काल में कोई भी शुभ कार्य नहीं करना चाहिए |
🌞 सूर्योदयः- प्रातः 05:36:00
🌅 सूर्यास्तः- सायं 06:24:00
👸🏻 ब्रह्म मुहूर्त : 04:20 ए एम से 05:03 ए एम
🌇 प्रातः सन्ध्या : 04:42 ए एम से 05:47 ए एम
🌟 अभिजित मुहूर्त : 11:53 ए एम से 12:46 पी एम
🔯 विजय मुहूर्त : 02:30 पी एम से 03:23 पी एम
🐃 गोधूलि मुहूर्त : 06:51 पी एम से 07:13 पी एम
🏙️ सायाह्न सन्ध्या : 06:52 पी एम से 07:57 पी एम
💧 अमृत काल : 04:42 पी एम से 06:25 पी एम
🗣️ निशिता मुहूर्त : 11:57 पी एम से 12:41 ए एम, अप्रैल 25
⭐ सर्वार्थ सिद्धि योग : 05:47 ए एम से 02:07 ए एम, अप्रैल 25
💦 अमृत सिद्धि योग : 05:47 ए एम से 02:07 ए एम, अप्रैल 25
❄️ रवि योग : 02:07 ए एम, अप्रैल 25 से 05:46 ए एम, अप्रैल 25
🚓 यात्रा शकुन- मीठा दूध पीकर यात्रा करें।
👉🏽 आज का मंत्र-ॐ सौं सोमाय नम:।
🤷🏻♀️ आज का उपाय-शिव मंदिर में छैने से बनी मिठाई चढ़ाएं।
🪵 वनस्पति तंत्र उपाय- पलाश के वृक्ष में जल चढ़ाएं।
⚛️ पर्व एवं त्यौहार – सर्वार्थसिद्धि योग/रवि योग/ अमृतयोग/ राष्ट्रीय आर्बर दिवस, सचिन तेंडुलकर जन्म दिवस, मानव एकता दिवस, आध्यात्मिक गुरु सत्य साईं बाबा पुण्य तिथि, स्वतंत्रता सेनानी कुंवर सिंह शहीद दिवस
✍🏼 विशेष – चतुर्थी तिथि को मूली एवं पञ्चमी तिथि को बिल्वफल त्याज्य बताया गया है। इस चतुर्थी तिथि में तिल का दान और भक्षण दोनों त्याज्य होता है। इसलिए चतुर्थी तिथि को मूली और तिल एवं पञ्चमी को बिल्वफल नहीं खाना न ही दान करना चाहिए। चतुर्थी तिथि एक खल और हानिप्रद तिथि मानी जाती है। इस चतुर्थी तिथि के स्वामी गणेश जी हैं तथा यह चतुर्थी तिथि रिक्ता नाम से विख्यात मानी जाती है। यह चतुर्थी तिथि शुक्ल पक्ष में अशुभ तथा कृष्ण पक्ष में शुभफलदायिनी मानी गयी है।
🌷 Vastu tips 🌸
टपकते नव की वजह से हो सकती हैं ये दिकक्तें
वास्तु के अनुसार, घर का टपकता नल फिजूलखर्ची का सूचक है। खासकर कि घर की रसोई का नल टपकता है तो ये बिल्कुल भी अच्छा नहीं है, क्योंकि रसोई में अग्नि का निवास होता है। जहां आग और पानी एक साथ हो वहां परेशानियां शुरू हो जाती है। इसके कारण घर के किसी सदस्य का स्वस्थ खराब हो सकता है। साथ ही व्यापार में नुकसान या किसी चीज में धन की हानि हो सकती है।
वास्तु शास्त्र के मुताबिक, पानी के फिजूल बहने से वरूण देव का दोष भी लगता है और घर में नकारात्मक ऊर्जा का प्रभाव बढ़ता है। इस तरह की परेशानियों से बचने के लिए, घर में कोई टपकता हुआ नल है तो उसे जल्द से जल्द ठीक करा लें। वरना आपको टपकते नल के कारण अन्य दूसरी समस्याओं का भी सामना करना पड़ सकता है।
♻️ जीवनोपयोगी कुंजियां ⚜️
रोज तांबे की बोतल से पानी पीने के नुकसान- होता ये है कि जब आप रोज तांबे की बोतल में पानी पीने लगते हैं तो तांबा खून में मिलने लगता है और किडनी व लिवर को नुकसान पहुंचाता है। तांबे का कण या क्रिस्टल, सांस लेने से आपकी नाक और गले में जलन का कारण बन सकता है। इससे आपको चक्कर आना और सिरदर्द जैसे लक्षण महसूस हो सकते हैं।
तांबे के बर्तन में पानी पीने के नियम तांबे के बर्तनों में पानी से जुड़े नियमों के बारे में जानना बेहद जरूरी है। पहले को, तांबे की बोतल में पानी रात को भर के 6-8 घंटे के लिए रखें और सुबह इसका पानी पी लें। इसके अलावा इस बोतल के पानी को आप दिन में बस 2 से 3 बार ही लें। पूरे दिन इसका पानी न पिएं, नहीं तो आपको फायदे की जगह नुकसान हो सकता है।
💉 आरोग्य संजीवनी 🩸
इन चीजों से रखें पेट को ठंडा
दही आपकी आंत में अच्छे जीवाणुओं की संख्या को बढ़ाने में मदद करती हैं और गर्मी को दूर करने और पाचन और अन्य तंत्रों में सहायता करने में मदद करती हैं। वैकल्पिक रूप से, आप कुछ राहत पाने के लिए हर दिन छाछ पी सकते हैं।
ठंडा दूध पेट में तापमान को कम करने में मदद करता है और एसिड के स्तर को भी कम करता है। इससे पेट में गर्मी के कारण होने वाली बेचैनी से मदद मिलती हैं। प्रतिदिन एक गिलास कच्चा या ठंडा दूध आपको पेट की गर्मी से राहत दिलाने में मदद कर सकता है।
पुदीना और कैमोमाइल पुदीना और कैमोमाइल जैसी ठंडी जड़ी-बूटियाँ पेट में गर्मी को कम करने में मदद करती हैं।
📖 गुरु भक्ति योग 🕯️
आचार्य श्री गोपी राम की गणना विश्व के श्रेष्ठतम विद्वानों में की जाती है। उनके द्वारा रचित नीति वर्तमान समय में लाखों युवाओं का मार्गदर्शन कर रही है। हमारी नीति में धर्म, अर्थ और कर्तव्य के साथ-साथ जीवन की विभिन्न महत्वपूर्ण नीतियों के बारे में हमारे द्वारा विस्तार से बताया गया है। कि व्यक्ति को किन-किन लोगों पर विश्वास नहीं करना चाहिए और अपनी नीतियों को किन के साथ साझा नहीं करना चाहिए। इस भाग में आइए जानते हैं, व्यक्ति को किन बातों को रखना चाहिए हमेशा गुप्त?
न विश्वसेत्कुमित्रे च मित्रे चापि न विश्वसेत्।
कदाचित्कुपितं मित्रं सर्वं गुह्यं प्रकाशयेत् ।।
इस श्लोक में आचार्य श्री गोपी राम बताते हैं कि कुमित्र पर विश्वास नहीं करना चाहिए, लेकिन मित्र पर भी आंख मूंदकर विश्वास नहीं करना चाहिए। ऐसा इसलिए क्योंकि वह क्रोधित होकर आपकी गुप्त बातों को उजागर कर सकता है। इसलिए अपनी गुप्त बातों को हमेशा छिपाकर रखना चाहिए और अधिक लोगों के साथ साझा नहीं करना चाहिए।
मनसा चिन्तितं कार्यं वाचा नैव प्रकाशयेत्।
मन्त्रेण रक्षयेद् गूढं कार्य चापि नियोजयेत् ।।
आचार्य श्री गोपी राम ने इस श्लोक में हम बताते हैं कि मन में सोचे हुए कार्य को मुंह से बाहर नहीं निकालना चाहिए। इसे हमेशा मंत्र के समान गुप्त रखकर, उसकी रक्षा करनी चाहिए। साथ ही इस पर काम करते समय अधिक लोगों को इसका पता नहीं होना चाहिए। ऐसे किया गया कार्य ही मनुष्य को सफल बनाती है।
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⚜️ चतुर्थी तिथि में तिल का दान और भक्षण दोनों भी त्याज्य है। आज गणपति, गजानन, विघ्नहर्ता श्री गणेशजी की पूजा का विशेष महत्त्व है। आज गणपति की पूजा के उपरान्त मोदक, बेशन के लड्डू एवं विशेष रूप से दूर्वादल का भोग लगाना चाहिये इससे मनोकामना की सिद्धि तत्काल होती है।
शास्त्रा नुसार जिस व्यक्ति का जन्म चतुर्थी तिथि को होता है वह व्यक्ति बहुत ही भाग्यशाली होता है। चतुर्थी तिथि में जन्म लेने वाला व्यक्ति बुद्धिमान एवं अच्छे संस्कारों वाला होता है। ऐसे लोग अपने मित्रों के प्रति प्रेम भाव रखते हैं तथा इनकी सन्तानें अच्छी होती है। इन्हें धन की कमी का सामना नहीं करना पड़ता है और ये सांसारिक सुखों का पूर्ण उपभोग करते हैं।