Today Panchang आज का पंचांग शनिवार, 18 जनवरी 2025

आचार्य श्री गोपी राम (ज्योतिषाचार्य) जिला हिसार हरियाणा मो. 9812224501
✦••• जय श्री हरि •••✦
🧾 आज का पंचाग 🧾
शनिवार 18 जनवरी 2024
शनि देव जी का तांत्रिक मंत्र – ऊँ प्रां प्रीं प्रौं सः शनैश्चराय नमः।।
☄️ दिन (वार) -शनिवार के दिन क्षौरकर्म अर्थात बाल, दाढ़ी काटने या कटाने से आयु का नाश होता है । अत: शनिवार को बाल और दाढ़ी दोनों को ही नहीं कटवाना चाहिए।
शनिवार के दिन प्रात: पीपल के पेड़ में दूध मिश्रित मीठे जल का अर्ध्य देने और सांय पीपल के नीचे तेल का दीपक जलाने से कुंडली की समस्त ग्रह बाधाओं का निवारण होता है ।
शनिवार के दिन पीपल के नीचे हनुमान चालीसा पड़ने और गायत्री मन्त्र की àएक माला का जाप करने से किसी भी तरह का भय नहीं रहता है, समस्त बिग़डे कार्य भी बनने लगते है ।
शिवपुराण के अनुसार शनि देव पिप्लाद ऋषि का स्मरण करने वाले, उनके भक्तो को कभी भी पीड़ा नहीं देते है इसलिए जिन के ऊपर शनि की दशा चल रही हो उन्हें अवश्य ही ना केवल शनिवार को वरन नित्य पिप्लाद ऋषि का स्मरण करना चाहिए।
शनिवार के दिन पिप्पलाद श्लोक का या पिप्पलाद ऋषि जी के केवल इन तीन नामों (पिप्पलाद, गाधि, कौशिक) को जपने से शनि देव की कृपा मिलती है, शनि की पीड़ा निश्चय ही शान्त हो जाती है ।
🔮 शुभ हिन्दू नववर्ष 2024 विक्रम संवत : 2081 पिंगल संवत्सर विक्रम : 1946 क्रोधी
🌐 संवत्सर नाम पिंगल
🔯 शक सम्वत : 1946 (पिंगल संवत्सर)
☸️ काली सम्वत् 5125
🕉️ संवत्सर (उत्तर) पिंगल
☣️ आयन – उत्तरायण
🌦️ ऋतु – सौर शिशिर ऋतु
🌤️ मास – माघ मास
🌖 पक्ष – कृष्ण पक्ष
📅 तिथि : शनिवार माघ माह के कृष्ण पक्ष पंचमी तिथि
📝 तिथी स्वामी – पंचमी के देवता हैं नागराज। इस तिथि में नागदेवता की पूजा करने से विष का भय नहीं रहता, स्त्री और पुत्र प्राप्ति होती है। यह लक्ष्मीप्रदा तिथि हैं।
💫 नक्षत्र : नक्षत्र पूर्व फाल्गुनी 02:51 PM तक उपरांत उत्तर फाल्गुनी
🪐 नक्षत्र स्वामी : पूर्वा फाल्गुनी नक्षत्र : इस नक्षत्र का स्वामी शुक्र है और राशि स्वामी सूर्य हैं ।
⚜️ योग : शोभन योग 01:15 AM तक, उसके बाद अतिगण्ड योग
⚡ प्रथम करण कौलव 06:26 PM तक,
✨ द्वितीय करण : तैतिल पूर्ण रात्रि तक
🔥 गुलिक काल : – शनिवार को शुभ गुलिक प्रातः 6 से 7:30 बजे तक ।
⚜️ दिशाशूल – शनिवार को पूर्व दिशा का दिकशूल होता है ।यात्रा, कार्यों में सफलता के लिए घर से अदरक खाकर, घी खाकर जाएँ ।
🤖 राहुकाल -सुबह – 9:00 से 10:30 तक।राहु काल में कोई भी शुभ कार्य नहीं करना चाहिए |
🌞 सूर्योदयः- प्रातः 06:41:00
🌅 सूर्यास्तः – सायं 05:19:00
👸🏻 ब्रह्म मुहूर्त : 05:27 ए एम से 06:21 ए एम
🌇 प्रातः सन्ध्या : 05:54 ए एम से 07:15 ए एम
🌟 अभिजित मुहूर्त : 12:11 पी एम से 12:53 पी एम
✡️ विजय मुहूर्त : 02:17 पी एम से 03:00 पी एम
🐃 गोधूलि मुहूर्त : 05:46 पी एम से 06:13 पी एम
🌌 सायाह्न सन्ध्या : 05:49 पी एम से 07:09 पी एम
💧 अमृत काल : 07:53 ए एम से 09:38 ए एम
🗣️ निशिता मुहूर्त : 12:05 ए एम, जनवरी 19 से 12:58 ए एम, जनवरी 19
🚓 यात्रा शकुन-शर्करा मिश्रित दही खाकर घर से निकलें।
👉🏽 आज का मंत्र-ॐ प्रां प्रीं प्रौं स: शनयै नम:।
🤷🏻♀️ आज का उपाय-ज़रूरतमन्दों को काले कम्बल दान करें।
🪵 वनस्पति तंत्र उपाय-शमी के वृक्ष में जल चढ़ाएं।
⚛️ पर्व एवं त्यौहार : राष्ट्रीय स्वादिष्ट कॉफी दिवस, राष्ट्रीय पेकिंग बतख दिवस, महिला स्वस्थ वजन दिवस, राष्ट्रीय मिशिगन दिवस, राष्ट्रीय थिसॉरस दिवस, राष्ट्रीय विनी द पूह दिवस, हरिवंश राय बच्चन पुण्यतिथि, स्वतंत्रता सेनानी भीम सेन सच्चर स्मृति दिवस, अभिनेत्री मोनिका बेदी जन्म दिवस, क्रिकेट खिलाड़ी विनोद काम्बली, जन्म दिवस, कुरुक्षेत्र के गुरुकुल के प्रधानाचार्य आचार्य देवव्रत जयंती
✍🏼 विशेष – पञ्चमी तिथि को बिल्वफल त्याज्य बताया गया है। पञ्चमी तिथि को खट्टी वस्तुओं का दान और भक्षण दोनों ही त्याज्य है। पञ्चमी तिथि धनप्रद अर्थात धन देनेवाली तिथि मानी जाती है। यह पञ्चमी तिथि अत्यंत शुभ तिथि भी मानी जाती है। इस पञ्चमी तिथि के स्वामी नागराज वासुकी हैं। यह पञ्चमी तिथि पूर्णा नाम से विख्यात मानी जाती है। यह पञ्चमी तिथि शुक्ल पक्ष में अशुभ और कृष्ण पक्ष में शुभ फलदायीनी मानी जाती है।
🏘️ Vastu tips_ 🏚️
लाफिंग बुद्धा भी ऐसा ही एक सुविचारित प्रतीक है। हंसती हुई मूर्ति को देखकर भी मनुष्य प्रसन्नचित हो जाता है, इसीलिए इसको घर के मुख्य द्वार के सामने लगाने का विधान किया गया है ताकि घर में हर व्यक्ति हंसते हुए प्रवेश करें। जिस घर के निवासी प्रसन्नचित रहते हैं वहां आर्थिक सम्पन्नता खुद ही खींची चली आती है।
बिजनेस में तरक्की पाने के लिए अपनी इनकम बढ़ाने के लिए लाफिंग बुद्धा की हाथ में थैली लिए हुए मूर्ति रखनी चाहिए। यह मूर्ति आपको अपने ऑफिस या अपने कैबिन के मेन गेट के पास इस तरह रखनी चाहिए कि आते-जाते लोगों की उस पर नजर पड़े।
एक बात और कि वह थैली खाली नहीं होनी चाहिए, उसमें से सामान बाहर की तरफ निकलता हुआ नजर आना चाहिए। वहीं अगर आप नौकरी-पेशा हैं तो आपको अपने ऑफिस की वर्किंग टेबल पर नाव पर बैठे हुए लाफिंग बुद्धा रखने चाहिए। इससे तरक्की के रास्ते अपने आप खुलते नजर आएंगे।
♻️ जीवनोपयोगी कुंजियां ⚜️
जंगल में एक जड़ी बूटी पाई जाती है जिसे भूलन जड़ी कहते हैं, इसका काम है जंगल के पथिक को रास्ता भटकाना।
छत्तीसगढ़ के गहरे जंगलों में यह बूटी पाई जाती है, लोगों का मानना है कि इसे एक बार देख लिया तो देख लिया फिर दुबारा नहीं दिखती।
भूलन जब पैर के नीचे आती है तब लोगों को दिशा का ज्ञान नहीं रह पाता, और पेड़ पौधे नदी तालाब पहाड़ सब बड़े बड़े दिखाई देते हैं।
कहते हैं भूलन की वजह से विस्मृति होने पर शरीर पर पहने कपड़े को उल्टा करके पहन लेना चाहिए जिससे स्मृति वापस आ जाएं।
इस जड़ी का उपयोग तांत्रिक क्रियाओं में किया जाता है , यह जड़ी दिन तिथि और नक्षत्र के अनुसार दिखाई पड़ती है। लोग इसे रहस्यमयी मानते हैं।
भूलना जड़ी का उपयोग मलेरिया में भी किया जाता है।
🍃 आरोग्य संजीवनी ☘️
पाचन क्रिया में सुधार: चूना खाने से पाचन तंत्र को मजबूती मिलती है। यह कब्ज, एसिडिटी और गैस्ट्रिक समस्याओं को दूर करने में सहायक है।
हड्डियों की सेहत: चूना कैल्शियम का एक अच्छा स्रोत है, जो हड्डियों की मजबूती के लिए आवश्यक होता है। यह हड्डियों में घनत्व बढ़ाने और ऑस्टियोपोरोसिस जैसी बीमारियों से बचाव में मदद करता है।
दिल के रोगों से बचाव: चूने में पोटेशियम, मैग्नीशियम और कैल्शियम होते हैं, जो दिल के स्वास्थ्य को बनाए रखने में सहायक होते हैं और रक्तदाब को नियंत्रित करने में मदद करते हैं।
वजन घटाने में सहायक: चूना शरीर के मेटाबॉलिज्म को बढ़ाता है और शरीर से अतिरिक्त वसा को कम करने में मदद करता है, जिससे वजन घटाने में सहायता मिलती है।
त्वचा की समस्याओं का समाधान: चूना त्वचा को साफ करने और कील-मुंहासों को दूर करने में मदद करता है। इसके उपयोग से चेहरे की चमक भी बढ़ती है।
शरीर से विषाक्त पदार्थों को निकालना: चूना शरीर से विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालने में मदद करता है। यह रक्त को शुद्ध करने और शरीर में ऊर्जा का स्तर बढ़ाने में सहायक होता है।
📖 गुरु भक्ति योग 🕯️
बुद्धिमान व्यक्ति में ये 8 लक्षण पाए जाते है। अगर इनमे से आप मे 5 भी है तो आप बुध्दिमान है।
बुद्धिमान लोग अकेले रहना पसंद करते है वे बेवजह दूसरों के साथ रहना पसंद नहीं करते है और ये बहुत ही कम दोस्त बनाते है लेकिन जो भी इनके दोस्त होते है उनका ये जीवन भर साथ देते है ये लोग अंदर से काफी दयालू होते है।
बुद्धिमान लोग कम बातें करते है वे घर वालों से भी कम बातें करते है क्योंकि उनका दिमाग हर वक़्त किसी ना किसी चीज पर चल रहा होता है जिसकी वजह ‘से वे सिर्फ जरूरत पड़ने पर ही बोलते है !
बुद्धिमान लोग नए दोस्त बनाने या किसी भी काम को सोच समझ कर करते है किसी दूसरे की सुन कर काम नहीं करते बल्कि खुद अच्छी तरह से ‘समझ लेने के बाद ही किसी काम की शुरुआत करते है !
बुद्धिमान व्यक्ति खुद से अधिक बातें करते है और बहुत अधिक सोचते है. ऐसे लोग भीड़ वाली जगह और लड़ाई झगड़े से दूर रहना पसंद करते है. और फालतू में किसी से बहस करके अपनी एनेर्जी वेस्ट नहीं करते !
बुध्दिमान लोग खराब से खराब में भी पॉज़िटिव रहते है. वे कभी समस्या के बारे में नहीं सोचते बल्कि समस्या को दूर ‘करने के बारे में सोचते है. बुद्धिमान व्यक्ति के आगे आप चुगली करेंगे तो उनका जवाब ये होगा की रहने दो उनकी लाइफ है उन्हें अपने हिसाब से जीने दो !
हर बुध्दिमान को शुरुआत में ये लगता है कि मैं सबका भला चाहता हूँ लेकिन मुझे कोई नहीं समझता. ऐसा इसलिए होता है क्योंकि बुद्धिमान व्यक्ति ये सोचता है की दुनिया की सोच भी उसकी तरह बन जाये. लेकिन लोगों की छोटी सोच की वजह से शुरुआत में सभी लोग बुद्धिमान व्यक्ति को गलत समझते है।
बुद्धिमान व्यक्ति बहुत ज्यादा इमोशनल होते है ये छोटी छोटी चीज़ो को गहराई से फील करते है. ऐसे लोग किसी नए व्यक्ति पर आसानी से यकीन भी नहीं करते लेकिन 1 बार किसी पर यकीन कर लेते है तो वो यकीन लंबे समय तक बना रहता !
बुध्दिमान लोग अपने काम मे करते रहते है क्योंकि ये अपने काम को हमेशा बेहतर से बेहतर तरीके से करने की कोशिश करते है और हमेशा दूसरों से सीखते रहते है. बुद्धिमान लोग ‘बहुत ज्यादा सोचते है !
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⚜️ पञ्चमी तिथि में शिव जी का पूजन सभी कामनाओं की पूर्ति करता है। आज पञ्चमी तिथि में नाग देवता का पूजन करके उन्हें बहती नदी में प्रवाहित करने से भय और कष्ट आदि की सहज ही निवृत्ति हो जाती है। ऐसा करने से यहाँ तक की कालसर्प दोष तक की शान्ति हो जाती है। अगर भूतकाल में किसी की मृत्यु सर्पदंश से हुई हो तो उसके नाम से सर्प पूजन से उसकी भी मुक्ति तक हो जाती है।
पञ्चमी तिथि बहुत ही शुभ मानी जाती है। इस तिथि में जन्म लेने वाला व्यक्ति गुणवान होता है। इस तिथि में जिस व्यक्ति का जन्म होता है वह माता पिता की सेवा को ही सर्वश्रेष्ठ धर्म समझता है। इनके व्यवहार में उत्तम श्रेणी का एक सामाजिक व्यक्ति दिखाई देता है। इनके स्वभाव में उदारता और दानशीलता स्पष्ट दिखाई देती है। ये हर प्रकार के सांसारिक भोग का आनन्द लेते हैं और धन धान्य से परिपूर्ण जीवन का आनंद उठाते हैं।