अस्पताल परिसर में छाया अंधेरा, अस्पताल परिसर के अंदर गाड़ी का कांच तोड़ा

रिपोर्टर : कमलेश अवधिया
साईखेड़ा । नगर के अस्पताल परिसर में रविवार की शाम को एक पत्रकार अपनी फोर व्हीलर गाड़ी को एक छत के नीचे खड़ी कर दी और सोचा सुबह सोमवार को उठा लूंगा सोमवार को करीब 1 बजे बीएमओ साब ने एक कर्मचारी के द्वारा फोन लगवाया की अवधिया जी गाड़ी उठा लो सर की गाड़ी रखाएगी एवं उनके ही ड्राइवर ने तोमर मेडिकल के कर्मचारियों से भी फोन लगवाया फिर मैं डॉक्टर सिंह को फोन करके कहा सर मैं अभी बाहर हूं थोड़ी देर से गाड़ी उठा लूंगा और मैंने फोन रख दिया उसके बाद मंगलवार 19 मार्च को मै सुबह 10 बजे अस्पताल परिसर में गाड़ी लेने गया तो उसके दोनों टायर की हवा निकली हुई थी और पीछे का कांच पूरी तरह से टूटा हुआ था जिसकी जानकारी मैंने अस्पताल परिसर के कर्मचारियों से ली, किसी ने कुछ संतुष्ट जवाब नहीं दिया, बीएमओ से भी इसकी जानकारी ली उन्होंने भी कहा हमारी जानकारी में नहीं है हम ऐसी हरकत नहीं करवा सकते, अब सवाल यह उठता है कि आखिर इस घटना को अंजाम किसने दिया वहां के दुकानदारों एवं लोगों का कहना है कि यहां परिसर में बाहरी लोग ऐसी हरकत नहीं कर सकते उनको दहशत रहेगी कि यह गाड़ी कोई अस्पताल परिसर के कर्मचारी अधिकारी की हो बाहर के लोग यह भी सोचेंगे कि हो सकता है परिसर में कैमरा लगे हो कुल मिलाकर बाहरी लोगों का इसमें बिल्कुल भी हाथ नहीं है, आखिर यह घटना कोई परिसर के ही तुच्छ प्रवृत्ति, ओछी मानसिकता के कर्मचारी व्यक्ति की होगी जिसको किसी ने करवाया होगा, इसके पहले भी मेरी गाड़ी कई बार अस्पताल परिसर के खुले मैदान में पेड़ के नीचे भी रात में खड़ी रही पर आज तक ऐसी घटनाओं को किसी ने अंजाम नहीं दिया और अस्पताल प्रबंधन से बात होने के बाद ही यह घटना क्यों घटी, यह भी एक सोचने वाली बात है, अगर पत्रकारों के साथ ऐसी घटनाएं होंगी अस्पताल परिसर के अंदर तो अन्य व्यक्ति के वहां वाहन कहां तक सुरक्षित रहेंगे अब सवाल यह उठता है कि इतनी बड़ी 50-60 गांव की अस्पताल में कोई व्यवस्थाएं नहीं है परिसर के अंदर अंधेरा छाया रहता है अगर मान लो कोई शराबी ने ऐसा काम किया है तो शराबी परिसर के अंदर रात में क्यों जाते हैं, परिसर के अंदर कुछ माह पहले सीसीटीवी कैमरे लगवाए गए थे वह सभी कैमरे इस समय बंद पड़े हैं जो अभी तक ठीक नहीं हुये, कुल मिलाकर किसी भी विभाग की कमियां, खामियां उजागर करने पर इस तरह की पत्रकारों के साथ हरकत की जाएगी यह दुर्भाग्यपूर्ण बात है, ऐसी हरकतें अस्पताल परिसर के अंदर अब दोबारा किसी के साथ ना हो सके प्रशासन इस और ध्यान दें।