कोरोना महामारी में माता पिता को खोने वाले बच्चों के खातों में मिलेंगे 2 हजार रुपये महीने
एनसीपीसीआर द्वारा बच्चों के लिए समर्पण कार्यक्रम,रायसेन सहित प्रदेश के तीन जिलों से की गई शुरूआत
रिपोर्टर : शिवलाल यादव, रायसेन
रायसेन। राष्ट्रीय बाल संरक्षण आयोग द्वारा बच्चों के लिए समर्पण कार्यक्रम की शुरूआत की गई है। इसमें ऐसे बच्चों की वित्तीय सहायता की जायेगी, जिन्होंने कोरोना संक्रमण महामारी के कारण अपने माता-पिता में से किसी एक को या दोनों को खो दिया है। अपर मुख्य सचिव महिला बाल विकास अशोक कुमार शाह ने गत दिवस को ऑनलाइन माध्यम से इस कार्यक्रम को लाँच किया।राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग के अध्यक्ष प्रियंक कानूनगों ने बताया कि बच्चों के लिए समर्पण कार्यक्रम की शुरूआत मध्यप्रदेश के तीन जिलों रायसेन, विदिशा रायसेन और सीहोर से की गई है। भविष्य में इसका विस्तार किया जायेगा। उन्होंने बताया कि वेदांतु इनोवेशन लिमिटेड द्वारा प्रदेश के तीन जिलों के आयोग द्वारा चिन्हित 83 बच्चों को निजी स्पॉन्सरशिप के अन्तर्गत बच्चों एवं उनके संरक्षकों के खातों में प्रति बच्चा प्रति माह दो हजार रूपये के मान से एक लाख 66 हजार रूपये की प्रथम किश्त आंतरित की गई।
कोविड-19 की महामारी से बच्चें प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से प्रभावित हुए हैं। बाल संरक्षण आयोग द्वारा ऐसे सभी बच्चों का डाटा एकत्र किया गया है जो अनाथ होने के साथ ही असुरक्षित हो गए है।जिन्हें देखभाल और सुरक्षा की बेहद जरूरत है तथा जिन्होंने अपने एकल या माता-पिता दोनों को कोविड-19 या मार्च 2020 के बाद किसी अन्य कारणों से खो दिया है। उन्हें लाभ पहुँचाने के लिए अशासकीय संगठनों को भी जोड़ा गया है। वेदांतु इनोवेशन लिमिटेड के संस्थापक पुलकित जैन ने तीन जिलों के 83 बच्चों को न सिर्फ आर्थिक सहायता दी बल्कि उनके निरंतर संपर्क में रहकर उनके समग्र विकास की दिशा में कार्य करने के लिए प्रतिबद्धता व्यक्त की है।