डिप्टी कमिश्नर सरवटे पर ईओडब्ल्यू ने कसा शिकंजा, कई ठिकानों पर छापा, घर से शेर की खाल हुई बरामद, केस दर्ज

ब्यूरो चीफ : मनीष श्रीवास
जबलपुर। मध्य प्रदेश में आदिम जाति कल्याण विभाग के डिप्टी कमिश्नर जगदीश सरवटे पर EOW ने भ्रष्टाचार के मामले में बड़ी कार्रवाई करते हुये जबलपुर, भोपाल और सागर में छापेमारी के दौरान 6 करोड़ रुपए की संपत्ति भी मिली है। साथ ही बाघ की खाल को बरामद किया गया है।
आदिम जाति कल्याण विभाग में पदस्थ डिप्टी कमिश्नर जगदीश सरवटे (Deputy Commissioner Jagdish Sarvate) के खिलाफ आर्थिक अन्वेषण ब्यूरो (EOW) की छापेमारी लगातार जारी है। जबलपुर, सागर और भोपाल स्थित उनके कई ठिकानों पर एक साथ कार्रवाई की गई। लगभग 35 घंटे तक चली इस सघन सर्चिंग में EOW को करीब 6 करोड़ रुपए की अवैध संपत्ति मिली है, जिसमें कैश, गहने, प्रॉपर्टी और कीमती सामान शामिल हैं।
इस कार्रवाई के दौरान जबलपुर के आधारताल क्षेत्र में स्थित उनके निजी बंगले से एक बाघ की खाल भी बरामद हुई है। प्रारंभिक जानकारी के अनुसार, यह खाल करीब 30 साल पुरानी है और इसे बैठने के लिए उपयोग में लाया जा रहा था। इस गंभीर वन्यजीव अपराध की सूचना मिलने पर वन विभाग की टीम मौके पर पहुंची और खाल को जब्त कर लिया। साथ ही, वन्य प्राणी संरक्षण अधिनियम 1972 के तहत केस दर्ज कर आगे की जांच शुरू कर दी गई है।
तीन शहरों में बड़ी छापे मारी, करोड़ों की संपत्ति हुई उजागर – देखा जाय तो एक बार फिर एक सरकारी अफसर की भ्रष्टाचार की परतें खुल रही हैं। आदिम जाति कल्याण विभाग के डिप्टी कमिश्नर जगदीश सरवटे के खिलाफ EOW (Economic Offences Wing) ने बड़ी कार्रवाई करते हुए जबलपुर, भोपाल और सागर में एक साथ छापे मारे।
मंगलवार (22 जुलाई) को जबलपुर के शंकर शाह नगर स्थित सरकारी आवास, आधारताल स्थित पैतृक निवास, सागर के शासकीय आवास और भोपाल के बाग मुगलिया इलाके में EOW की टीमें पहुंचीं। कई घंटों की तलाशी में 5 करोड़ 89 लाख 95 हजार 624 रुपए की अनुपातहीन संपत्ति बरामद की गई, जिसमें नगदी, प्रॉपर्टी, जेवक, निवेश और कीमती सामान शामिल हैं।
सरवटे के घर से मिली बाघ की खाल
तलाशी के दौरान सबसे चौंकाने वाली चीज थी बाघ की खाल, जो उनके जबलपुर स्थित आवास से बरामद हुई। ये खाल करीब 30 साल पुरानी बताई जा रही है और इसे बैठने के लिए इस्तेमाल किया जा रहा था। इसकी सूचना मिलते ही वन विभाग की टीम मौके पर पहुंची और खाल को जब्त कर लिया। DFO ऋषि शुक्ला के अनुसार, इस पर वन्य जीव संरक्षण अधिनियम 1972 के तहत कार्रवाई की जा रही है। मामले में केस दर्ज कर आगे की जांच शुरू कर दी गई है।
जांच में सामने आया करोड़ों का भ्रष्टाचार
EOW पहले ही भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 की धारा 13(1)(B), 13(2) के तहत केस दर्ज कर चुकी है। अब वन विभाग भी अलग से मामला दर्ज कर पूछताछ करेगा। बैंक लॉकरों की तलाशी भी जारी है, जिससे आगे और संपत्ति मिलने की आशंका है। जांच एजेंसी की टीम बुधवार को भी आवासों पर सर्चिंग में जुटी रही, बैंक लॉकरों की भी जांच जारी है।
सूत्रों के आधार पर सरवटे ने अपनी सेवा का अधिकांश समय जबलपुर में ही बिताया है और वर्तमान में वे आदिम जाति कल्याण विभाग में डिप्टी कमिश्नर के पद पर कार्यरत हैं। वे परीक्षा पूर्व प्रशिक्षण केंद्र, जबलपुर का भी अतिरिक्त प्रभार संभाल रहे हैं।



