10 अफसरों को कारण बताओ नोटिस सीएम हेल्पलाइन की शिकायतों के निराकरण में की लापरवाही
कनिष्ट आपूर्ति अधिकारी ढीमरखेड़ा राजधर साकेत, बीआरसी ढीमरखेड़ा विजय कुमार चतुर्वेदी, बीईओ ढीमरखेड़ा एस.एस. मरावी सहित अन्य को जारी हुये नोटिस
रिपोर्टर : सतीश चौरसिया
उमरियापान। सीएम हेल्पलाईन की लंबित शिकायतों के निराकरण के लिये लोक सेवा प्रबंधन विभाग में उपस्थित न होने पर कलेक्टर प्रियंक मिश्रा के निर्देश पर अपर कलेक्टर रोमानुस टोप्पो ने खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति, शिक्षा व लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग के 10 अधिकारियों को कारण बताओ नोटिस जारी किया है। साथ ही उपस्थित होकर जवाब प्रस्तुत ना करने की दशा में कार्यवाही प्रस्तावित करने की चेतावनी भी दी है।
खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति विभाग के कनिष्ट आपूर्ति अधिकारी ढीमरखेड़ा राजधर साकेत, रीठी प्रभारी संतोष नंदनवार, कनिष्ठ आपूर्ति अधिकारी पियूष कुमार शुक्ल, कनिष्ठ आपूर्ति अधिकारी बरही ब्रजेश कुमार यादव व कटनी ग्रामीण के कनिष्ठ आपूर्ति अधिकारी रविन्द्र कुमार पटैल को कारण बताओ सूचना पत्र जारी किया गया है। वहीं शिक्षा विभाग के बीआरसी ढीमरखेड़ा विजय कुमार चतुर्वेदी, बीईओ ढीमरखेड़ा एस.एस. मरावी, बीईओ विजयराघवगढ़ आनंद कुमार कोरी, बीईओ कटनी मनोरमा पुष्पा ढुंगढुंग और लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग के सहायक यंत्री विजयराघवगढ़ पी.के. पयासी को भी सीएम हेल्पलाईन की लंबित शिकायतों के निराकरण के लिये उपस्थित नहीं होने के कारण, शोकॉज नोटिस जारी किया गया है।
जारी नोटिस में कहा गया है कि सीएम हेल्पलाईन में लंबित शिकायतों के निराकरण के लिये अधिकारियों को कार्यालय लोक सेवा प्रबंधन विभाग में उपस्थित होकर निराकरण कराने का लेख किया गया था। लेकिन वे उपस्थित नहीं हुये। जिससे माह अप्रैल की ग्रेडिंग और 50 दिवस की लंबित शिकायतों का समुचित निराकरण संभव नहीं हो पा रहा है। साथ ही अत्याधिक संख्या में शिकायतें लंबित प्रदर्शित हो रही हैं। जिससे जिले एवं विभाग की ग्रेडिंग पर विपरीत प्रभाव पड़ रहा है। अधिकारियों के उपस्थित न होने के कृत्य को वरिष्ठ अधिकारियों के निर्देशों की अवहेलना व पदीय कर्तव्यों के निर्वहन में उदासीनता के साथ शासन के कार्यों के प्रति लापरवाही मानते हुये निर्धारित समयावधि के भीतर लोक सेवा प्रबंधन विभाग एवं आपदा नियंत्रण कक्ष में उपस्थित होकर प्राप्त शिकायतों का संतुष्टिपूर्ण निराकरण कराते हुये जवाब प्रस्तुत करने के निर्देश दिये गये हैं। जवाब प्रस्तुत ना करने की दशा में एक पक्षीय कार्यवाही प्रस्तावित करने की चेतावनी भी संबंधित लोक सेवकों को दी गई है।